प्रधानमंत्री मोदी ने 90,000 करोड़ की परियोजनाओं की समीक्षा की, जलमार्ग, रिंग रोड और मातृ योजना पर दिए खास निर्देश
"यह समीक्षा दर्शाती है कि प्रधानमंत्री मोदी देश की बुनियादी ढांचा परियोजनाओं को केवल आर्थिक दृष्टि से नहीं, बल्कि सामाजिक, पर्यावरणीय और सामुदायिक दृष्टिकोण से भी देखना चाहते हैं। चाहे वह जलमार्ग हो, रिंग रोड, या मातृत्व स्वास्थ्य योजना, सबका मकसद है – आम नागरिक की भलाई।"
प्रधानमंत्री मोदी की परियोजनाओं की समीक्षा पर ज़ोर
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने प्रगति (PRAGATI) की 46वीं बैठक की अध्यक्षता करते हुए करीब 90,000 करोड़ रुपये से अधिक की आठ महत्वपूर्ण परियोजनाओं की समीक्षा की। इन योजनाओं में परिवहन, पर्यटन, शहरी विकास और महिला सशक्तिकरण से जुड़े कार्यक्रम शामिल थे। इस समीक्षा का मुख्य उद्देश्य था — परियोजनाओं की प्रगति में तेजी लाना और उन्हें समग्र दृष्टिकोण से लागू करना।
जलमार्ग परियोजना और क्रूज़ पर्यटन को मिला प्रोत्साहन
अंतर्देशीय जलमार्ग विकास परियोजना की समीक्षा के दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि इन मार्गों का उपयोग केवल मालवाहन तक सीमित न रहे, बल्कि क्रूज़ पर्यटन के ज़रिये सामुदायिक संपर्क को भी बढ़ाया जाए। उन्होंने कहा कि इस दिशा में स्थानीय उद्यमियों और 'एक जिला एक उत्पाद' जैसी योजनाओं को जोड़ा जाए।
स्थानीय अर्थव्यवस्था में नया जोश
इस पहल से न केवल स्थानीय व्यवसायों को बढ़ावा मिलेगा बल्कि पर्यटन और रोज़गार के अवसर भी बढ़ेंगे। प्रधानमंत्री ने ज़ोर देकर कहा कि जलमार्गों के आस-पास रहने वाले लोगों की आजीविका सुनिश्चित करने के लिए एक समग्र रणनीति अपनाई जानी चाहिए।
पीएम गति शक्ति योजना के उपयोग पर बल
प्रधानमंत्री ने कहा कि पीएम गति शक्ति प्लेटफॉर्म के ज़रिये विभिन्न मंत्रालयों और विभागों को जोड़कर एकीकृत योजना बनाई जा सकती है। इससे न केवल संसाधनों का बेहतर उपयोग होगा, बल्कि समय और लागत की भी बचत होगी।
रिंग रोड परियोजना में दीर्घकालिक योजना
प्रधानमंत्री मोदी ने रिंग रोड परियोजना की समीक्षा करते हुए यह स्पष्ट किया कि इसे केवल सड़क निर्माण तक सीमित नहीं रखा जाए। उन्होंने कहा कि यह विकास अगले 25–30 वर्षों की शहरी विस्तार योजना के अनुरूप होनी चाहिए।
शहरी नियोजन में रिंग रोड की भूमिका
रिंग रोड न केवल परिवहन सुविधा को बढ़ाएगा, बल्कि यह भी सुनिश्चित करेगा कि भविष्य की शहरी आवश्यकताओं को भी पूरा किया जा सके। उन्होंने कहा कि रिंग रोड जैसे अवसंरचनात्मक विकास कार्यों को दीर्घकालिक सोच के साथ प्लान किया जाना चाहिए।
पीएम मातृ वंदना योजना की पुनः समीक्षा
प्रधानमंत्री ने प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना (PMMVY) की समीक्षा करते हुए कहा कि सभी लाभार्थियों की पहचान आधार आधारित बायोमेट्रिक्स के ज़रिये सुनिश्चित की जानी चाहिए। इसके अलावा, उन्होंने बाल देखभाल, स्वास्थ्य, पोषण और स्वच्छता को बढ़ावा देने वाले कार्यक्रमों को इस योजना के साथ जोड़ने की बात कही।
माताओं और नवजात शिशुओं का कल्याण
इस योजना में नए कार्यक्रमों को जोड़कर मातृत्व देखभाल को और भी प्रभावी बनाया जा सकता है। इससे महिला सशक्तिकरण और शिशु स्वास्थ्य दोनों को मजबूती मिलेगी।
शहरी परिवहन में सर्कुलर रेल नेटवर्क
प्रधानमंत्री ने सुझाव दिया कि शहरों के भीतर एक सर्कुलर रेल नेटवर्क की संभावना को भी जांचा जाना चाहिए। यह व्यवस्था सार्वजनिक परिवहन का सतत और पर्यावरण–हितैषी विकल्प बन सकती है।
पारदर्शी और अपडेटेड डाटा की आवश्यकता
बैठक में प्रधानमंत्री ने यह निर्देश भी दिया कि सभी विभाग अपने डेटाबेस को नियमित रूप से अपडेट करें। उन्होंने कहा कि सटीक और विश्वसनीय डेटा ही प्रभावी निर्णय लेने का आधार होता है।
अब तक 20 लाख करोड़ की 370 परियोजनाएं हुईं समीक्षा के अंतर्गत
प्रगति बैठक के 46वें संस्करण तक कुल मिलाकर करीब 20 लाख करोड़ रुपये की लागत वाली 370 परियोजनाओं की समीक्षा की जा चुकी है। यह बैठकें भारत के तेज़ और समग्र विकास में प्रधानमंत्री के निगरानी दृष्टिकोण का एक हिस्सा हैं।
