चुनाव आयोग ने 334 निष्क्रिय राजनीतिक दलों को सूची से हटाया, अब 2,520 RUPPs शेष
334 निष्क्रिय राजनीतिक दलों की सूची से छुट्टी
“देश में चुनावी प्रक्रिया को पारदर्शी और साफ बनाने के लिए चुनाव आयोग (ECI) ने शनिवार को 334 पंजीकृत गैर-मान्यता प्राप्त राजनीतिक दलों (RUPPs) को सूची से हटा दिया। आयोग के अनुसार, ये दल पिछले 6 वर्षों (2019 से अब तक) किसी भी चुनाव में शामिल नहीं हुए और पंजीकृत पते पर भी इनके कार्यालय नहीं मिले। अब देश में कुल 2,854 RUPPs में से 2,520 दल शेष रह गए हैं।”
कानूनी और वित्तीय लाभ खत्म
इन दलों को अब जनप्रतिनिधित्व अधिनियम, 1951 की धारा 29B और 29C, आयकर अधिनियम, 1961 और चुनाव प्रतीक (आरक्षण और आवंटन) आदेश, 1968 के तहत मिलने वाले किसी भी लाभ का अधिकार नहीं रहेगा। अगर कोई दल इस फैसले से असहमत है तो वह 30 दिनों के भीतर ECI में अपील कर सकता है।
जांच में सामने आए तथ्य
- ECI ने जून 2025 में राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के मुख्य निर्वाचन अधिकारियों (CEOs) को 345 RUPPs की जांच करने का निर्देश दिया था।
- जांच रिपोर्ट में पाया गया कि 334 दल तय मानकों का पालन नहीं कर रहे थे।
- इन दलों को फील्ड जांच, नोटिस और व्यक्तिगत सुनवाई का अवसर दिया गया, लेकिन अधिकांश ने आवश्यक मानदंड पूरे नहीं किए।
नियम क्या कहते हैं?
मौजूदा नियमों के तहत, कोई भी पार्टी यदि लगातार 6 वर्षों तक चुनाव नहीं लड़ती, तो उसका नाम पंजीकृत दलों की सूची से हटा दिया जाता है।
ECI की लगातार कार्रवाई
- 2022 से अब तक ECI 284 गैर-अनुपालन करने वाले RUPPs को हटा चुका है।
- 253 RUPPs को निष्क्रिय घोषित किया गया है।
- उद्देश्य: गैर-कार्यक्षम और कागजों पर मौजूद पार्टियों को हटाना ताकि राजनीतिक क्षेत्र पारदर्शी और सक्रिय बना रहे।
वर्तमान परिदृश्य
- राष्ट्रीय दल: 6
- राज्य स्तरीय दल: 67
- पंजीकृत गैर-मान्यता प्राप्त राजनीतिक दल (RUPPs): 2,520
