भारत में सॉवरेन वेल्थ फंड्स का बढ़ता भरोसा: वित्त वर्ष 2025 में 8,426 करोड़ का निवेश
वित्त वर्ष 25 में सॉवरेन वेल्थ फंड्स का निवेश
“सरकार ने संसद में बताया कि भारत में सॉवरेन वेल्थ फंड्स का निवेश वित्त वर्ष 2025 में 8,426 करोड़ रुपये रहा। यह निवेश भारत की अर्थव्यवस्था पर विदेशी निवेशकों के भरोसे को दिखाता है।”
पिछले वर्षों की तुलना
- वित्त वर्ष 2024 में: 47,604 करोड़ रुपये का निवेश
- वित्त वर्ष 2023 में: 15,446 करोड़ रुपये का निवेश
- वित्त वर्ष 2022 में: 3,825 करोड़ रुपये की निकासी
यह आंकड़े बताते हैं कि पिछले कुछ वर्षों में भारत विदेशी फंड्स के लिए लगातार आकर्षक गंतव्य बनता जा रहा है।
किन सेक्टर्स में सबसे ज्यादा निवेश?
फाइनेंशियल सर्विसेज, आईटी और हेल्थकेयर निवेशकों की पहली पसंद रहे।
- वित्तीय सेवाएं: 28,562 करोड़ रुपये
- आईटी सेक्टर: 19,135 करोड़ रुपये
- हेल्थकेयर: 7,830 करोड़ रुपये
- दूरसंचार: 7,053 करोड़ रुपये
ये क्षेत्र भारत की टेक्नोलॉजी, डिजिटल इन्फ्रास्ट्रक्चर और हेल्थकेयर इनोवेशन की मजबूती को दर्शाते हैं।
विशेषज्ञों की राय
विशेषज्ञों का कहना है कि इस तरह का निवेश लंबे समय तक टिकता है और भारत की ग्रोथ स्टोरी को मजबूत बनाता है।
- यह स्टेबल और लॉन्ग-टर्म कैपिटल है।
- भारत के विकास और सुधार कार्यक्रमों को मजबूती देता है।
सरकार की पहल और निवेशकों का भरोसा
- सरकार ने सुधार, इंफ्रास्ट्रक्चर विकास और डिजिटल विस्तार पर जोर दिया है।
- दीर्घकालिक विदेशी निवेशकों को आकर्षित करने के लिए कर छूट और नियामकीय रियायतें दी गई हैं।
- एफडीआई नियमों को आसान बनाया गया है।
- वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बताया कि वर्तमान में 95% से अधिक एफडीआई ऑटोमेटिक रूट से आती है।
- बजट 2025 में बीमा सेक्टर में एफडीआई सीमा 74% से बढ़ाकर 100% कर दी गई है।
“भारत में सॉवरेन वेल्थ फंड्स का निवेश लगातार बढ़ रहा है। वित्त वर्ष 2025 का 8,426 करोड़ का निवेश इस बात का संकेत है कि भारत वैश्विक निवेशकों के लिए एक भरोसेमंद और स्थिर गंतव्य बन चुका है। आने वाले वर्षों में यह प्रवृत्ति भारत को विकसित भारत 2047 के लक्ष्य की ओर और आगे ले जाएगी।”