उत्तर प्रदेश में भीषण गर्मी के चलते बदला प्राथमिक स्कूलों का समय
"उत्तर प्रदेश प्राथमिक स्कूल समय बदलाव केवल एक प्रशासनिक निर्णय नहीं है, बल्कि यह बच्चों की सुरक्षा और शिक्षा के बीच संतुलन बनाने का प्रयास है। इस बदलाव से यह भी स्पष्ट होता है कि सरकार बच्चों की सेहत और भलाई को प्राथमिकता दे रही है।"
उत्तर प्रदेश में गर्मी का प्रकोप और प्राथमिक स्कूलों के समय में बदलाव
उत्तर प्रदेश में इस साल अप्रत्याशित गर्मी ने आम जनजीवन को खासा प्रभावित किया है। दिन के समय तापमान 40 डिग्री सेल्सियस से ऊपर जा रहा है। इसी को देखते हुए शिक्षा विभाग ने सभी उत्तर प्रदेश प्राथमिक स्कूलों के समय में बदलाव का आदेश जारी किया है।
शिक्षा विभाग का आदेश: नया स्कूल टाइम टेबल
शिक्षा विभाग द्वारा जारी आदेश के अनुसार, अब सभी सरकारी और मान्यता प्राप्त प्राथमिक स्कूल सुबह 7:30 बजे से दोपहर 1:30 बजे तक संचालित होंगे। लेकिन छात्रों की उपस्थिति सुबह 7:30 बजे से दोपहर 12:30 बजे तक ही रहेगी।
नया समय इस प्रकार है:
प्रार्थना सभा और योग: सुबह 7:30 से 7:40 बजे
शिक्षण अवधि: सुबह 7:40 से दोपहर 12:30 बजे
लंच ब्रेक: सुबह 10:00 से 10:15 बजे
कर्मचारियों का समय: सुबह 7:30 से दोपहर 1:30 बजे तक
हीटवेव से छात्रों को बचाने का प्रयास
गर्मी के कारण छात्रों को स्कूल आने-जाने में कठिनाई हो रही थी। हीटवेव के चलते तेज धूप और गर्म हवाएं बच्चों के स्वास्थ्य को खतरे में डाल रही थीं। यह बदलाव उत्तर प्रदेश प्राथमिक स्कूल समय बदलाव नीति के तहत राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (NDMA) और राहत आयुक्त कार्यालय की सिफारिशों के आधार पर किया गया है।
निजी स्कूलों को मिली छूट
निजी और गैर-सरकारी विद्यालयों को अपने समय निर्धारण की छूट दी गई है। वे अपनी प्रबंध समिति के निर्णय के अनुसार समय तय कर सकते हैं। हालांकि, उन्हें भी हीटवेव और छात्रों की सुरक्षा को प्राथमिकता देनी होगी।
शिक्षकों और स्टाफ की जिम्मेदारी
शिक्षक, शिक्षामित्र और अनुदेशक को स्कूल के निर्धारित समय 7:30 से 1:30 बजे तक मौजूद रहना अनिवार्य किया गया है।
इस दौरान वे प्रशासनिक कार्य, शिक्षण योजना और रिपोर्टिंग आदि जिम्मेदारियों को निभाएंगे।
मौसम विभाग की चेतावनी
मौसम विभाग ने अगले कुछ दिनों में गर्मी और बढ़ने की चेतावनी दी है। रिपोर्टों के अनुसार:
कई जिलों में तापमान 44 डिग्री तक पहुँच चुका है।
लू जैसी स्थितियाँ बन चुकी हैं।
धूप के कारण बच्चों को चक्कर, सिर दर्द, और डीहाइड्रेशन की समस्या हो रही है।
माता-पिता की चिंताएं और राहत
बढ़ती गर्मी में अभिभावकों की ओर से यह मांग लगातार उठ रही थी कि स्कूलों का समय बदला जाए। यह फैसला उन सभी माता-पिताओं के लिए राहत की बात है जो अपने बच्चों की सेहत को लेकर चिंतित थे।
जिला शिक्षा अधिकारियों को निर्देश
शासन ने सभी जिला शिक्षा अधिकारियों (BSA) को निर्देशित किया है कि वे इस आदेश का पालन करवाएं और सुनिश्चित करें कि किसी भी स्कूल में इसका उल्लंघन न हो। साथ ही बच्चों को पर्याप्त पानी, छाया और प्राथमिक चिकित्सा की सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएं।
बच्चों की सुरक्षा के लिए अतिरिक्त सुझाव
शिक्षा विभाग ने कुछ अतिरिक्त सुझाव भी जारी किए हैं:
बच्चों को कैप और पानी की बोतल साथ लाने के लिए प्रेरित करें।
कक्षाओं में कूलर या पंखों की व्यवस्था सुनिश्चित करें।
किसी छात्र को थकावट या चक्कर आने पर तुरंत प्राथमिक चिकित्सा दें।
गर्मी से निपटने के लिए सरकारी रणनीति
यह कदम सरकार की समग्र रणनीति का हिस्सा है जो हीटवेव से निपटने के लिए बनाई गई है। इसमें न केवल स्कूलों के समय में बदलाव बल्कि चिकित्सा सुविधा, जन जागरूकता और प्रशासनिक सतर्कता शामिल है।